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मशहुर साहित्यकार चंद्रशेखर रथ का निधन 89 वर्ष की आयु में हुआ। उनका निधन बुढ़ापे की बीमारियों के कारण हुआ है।
मशहुर साहित्यकार चंद्रशेखर रथ का निधन 89 वर्ष की आयु में हुआ। उनका निधन बुढ़ापे की बीमारियों के कारण हुआ है।
- चंद्रशेखर रथ ना सिर्फ ओडिशा बल्कि भारत के बड़े साहित्यारों में शुमार होते हैं। सरकार ने साहित्य के क्षेत्र में उनकी सेवाओं को देखते हुए इस साल उनका नाम पद्म श्री अवार्ड के लिए चुना था।
- बलांगीर जिले के मालपड़ा में 17 अक्तूबर,1929 को जन्मे चंद्रशेखर रथ ओडिशा के कथाकार व साहित्यकारों में शामिल हैं।
- ओडिशा साहित्य अकादमी, शारला पुरस्कार, अतिबडी जगन्नाथ दास पुरस्कार व केन्द्र साहित्य अकादमी पुरस्कार उन्हें प्राप्त हो चुका है।
- उनके तीन उपन्यास, यंत्ररूद्र ( द इंस्ट्रूमेंटेड) 1967, असुर्य उपनिवेश (द सनलेस कॉलोनी) 1974 और नव जातक (रेजेन्सिस) 1981, ने उन्हें ओडिया साहित्य में विशेष स्थान दिलाया है।
- https://sites.google.com/site/profchandrasekharrath/home
- http://pragativadi.com/renowned-litterateur-padma-shri-nominee-chandrasekhar-rath-no/
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