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जन्‍मदिन विशेष : महान कवि व नेता अटल बिहारी वाजपेयी (Great Poet and Leader Atal Bihari Vajpeyee)

Dear Aspirants,

भारत के राजनीतिक इतिहास में पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की पहचान एक कुशल राजनीतिज्ञ, प्रशासक, भाषाविद, हिन्दी कवि, पत्रकार और प्रखर वक्ता के रूप में होती है। राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ की विचारधारा में पले-बढ़े अटल जी राजनीति में उदारवाद, समता और समानता के समर्थक माने जाते हैं। किंगशुक नाग अपनी किताब ''अटलबिहारी वाजपेयी- ए मैन फ़ॉर ऑल सीज़न'' में लिखते हैं। कि एक बार नेहरू ने भारत यात्रा पर आए एक ब्रिटिश प्रधानमंत्री से वाजपेयी को मिलवाते हुए कहा था, "इनसे मिलिए, ये विपक्ष के उभरते हुए युवा नेता हैं। हमेशा मेरी आलोचना करते हैं लेकिन इनमें मैं भविष्य की बहुत संभावनाएं देखता हूँ।"

  • अटल बिहारी वाजपेयी का जन्म मध्य प्रदेश के ग्वालियर में 25 दिसम्बर, 1924 को हुआ था। उनके पिता कृष्ण बिहारी वाजपेयी शिक्षक थे। उनकी मां का नाम कृष्णा वाजपेयी था।
  • उत्तर प्रदेश में आगरा जनपद के प्राचीन स्थान बटेश्वर के मूल निवासी पण्डित कृष्ण बिहारी वाजपेयी मध्य प्रदेश की ग्वालियर रियासत में अध्यापक थे। 
  • अटल जी की बी०ए० की शिक्षा ग्वालियर के विक्टोरिया कालेज (वर्तमान में लक्ष्मीबाई कालेज) में हुई। 
  • कानपुर के डी०ए०वी० कालेज से राजनीति शास्त्र में एम०ए० की परीक्षा प्रथम श्रेणी में उत्तीर्ण की।
  • महात्मा रामचन्द्र वीर द्वारा रचित अमर कृति "विजय पताका" पढकर अटल जी के जीवन की दिशा ही बदल गयी।
  • अटल बिहारी वाजपेयी की पहली कविता ताजमहल थी।
  • अटल बिहारी वाजपेयी एक कवि के रूप में अपनी पहचान बनाना चाहते थे। लेकिन, शुरुआत पत्रकारिता से हुई। पत्रकारिता ही उनके राजनीतिक जीवन की आधारशिला बनी। उन्होंने संघ के मुखपत्र पांचजन्य, राष्ट्रधर्म, दैनिक स्वदेश और वीर अर्जुन जैसे अखबारों का संपादन किया।
  • राजनीतिक सेवा का व्रत लेने के कारण वो आजीवन कुंवारे रहे। उन्होंने राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के लिए आजीवन अविवाहित रहने का निर्णय लिया था। 
  • अटल जी भारतीय जनसंघ की स्थापना करने वालों में से एक हैं और सन् 1968 से 1973 तक वह उसके राष्ट्रीय अध्यक्ष भी रह चुके हैं।
  • सबसे पहले 1955 में अटल जी पहली बार लोकसभा का चुनाव लड़ा लेकिन उन्हें हार का सामना करना पड़ा। बाद में 1957 में गोंडा की बलरामपुर सीट से जनसंघ उम्मीदवार के रूप में जीत कर लोकसभा पहुंचे। उन्हें मथुरा और लखनऊ से भी लड़ाया गया लेकिन हार गए। 
  • 1957 में देश की संसद में जनसंघ के सिर्फ चार सदस्य थे जिसमें एक अटल बिहारी वाजपेयी थी थे।
  • सन् 1957 से 1977 तक जनता पार्टी की स्थापना तक वे बीस वर्ष तक लगातार जनसंघ के संसदीय दल के नेता रहे।
  • वाजपेयी जी दो बार राज्यसभा में गए और दस बार लोकसभा सदस्य रहे। वे चार राज्यों के अलग-अलग क्षेत्रों, बलरामपुर, लखनऊ, विदिशा, ग्वालियर, नई दिल्ली, गांधीनगर से चुनाव जीतने में कामयाब रहे। 
  • मोरारजी देसाई की सरकार में सन् 1977 से 1979 तक विदेश मन्त्री रहे और विदेशों में भारत की छवि बनायी। उन्‍होंने संयुक्‍त राष्‍ट्र में हिंदी का गौरव बढ़ाया। 29 दिसंबर 1980 को भारतीय जनता पार्टी का गठन हुआ और वाजपेयी ही इसके संस्‍थापक अध्‍यक्ष बने।
  • 6 अप्रैल 1980 में बनी भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष पद का दायित्व भी वाजपेयी को सौंपा गया।
  • वाजपेयी 1991, 1996, 1998, 1999 और 2004 में लखनऊ से लोकसभा सदस्य चुने गये। वह बतौर प्रधानमंत्री अपना कार्यकाल पूर्ण करने वाले पहले और अभी तक एकमात्र गैर-कांग्रेसी नेता हैं।
  • 1993 में वाजपेयी लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष चुने गये जिससे राजनीतिक बिरादरी में भी भाजपा की स्‍वीकार्यता और जगह बढ़ने लगी। 
  • 1996 में लोकसभा चुनावों में भाजपा सबसे बड़ी पार्टी के रूप में उभरी और वाजपेयी पहली बार प्रधानमंत्री बने। इस दौरान उनका कार्यकाल 16 से 31 मई, 1996 तक यानी सिर्फ 13 दिन का रहा। 
  • 1998 में वाजपेयी दूसरी बार प्रधानमंत्री बने और इस दौरान उनका कार्यकाल 13 माह का रहा। इस कार्यकाल में ही उन्‍होंने परमाणु परीक्षण किया। 
  • 1999 के लोकसभा चुनाव में वाजपेयी के नेतृत्‍व में एनडीए बहुमत के साथ सत्‍ता में आया और फिर उसके बाद देश में राजनीतिक स्थिरता आई।
  • अटल बिहारी वाजपेयी ने अपनी राजनीतिक कुशलता से बीजेपी को देश में शीर्ष राजनीतिक सम्मान दिलाया। दो दर्जन से अधिक राजनीतिक दलों को मिलाकर उन्होंने एनडीए बनाया जिसकी सरकार में 80 से अधिक मंत्री थे, जिसे ''जम्बो मंत्रीमंडल'' भी कहा गया।
  • अटल जी की कविताओं का संकलन 'मेरी इक्यावन कविताएं' खूब चर्चित रहा जिसमें..हार नहीं मानूंगा, रार नहीं ठानूंगा।
  • संयुक्त राष्ट्र संघ में भारत का प्रतिनिधित्व करते हुए हिंदी में भाषण देने वाले अटल जी पहले भारतीय राजनेता थे।
  • पूर्व पीएम इंदिरा गांधी के खिलाफ जब विपक्ष एक हुआ और बाद में जब देश में मोरारजी देसाई की सरकार बनी तो अटल जी को विदेशमंत्री बनाया गया।
  • कहा जाता है कि संसद में इंदिरा गांधी को दुर्गा की उपाधि उन्हीं की तरफ से दी गई। उन्होंने इंदिरा सरकार की तरफ से 1975 में लागाए गये आपातकाल का विरोध किया। लेकिन, बांग्लादेश के निर्माण में इंदिरा गांधी की भूमिका को उन्होंने सराहा था। 
  • अटल जी ने लाल बहादुर शास्त्री की तरफ से दिए गए नारे जय जवान जय किसान में अलग से जय विज्ञान भी जोड़ा।
  • अटल सरकार ने 11 और 13 मई 1998 को पोखरण में पाँच भूमिगत परमाणु परीक्षण विस्फोट करके भारत को परमाणु शक्ति संपन्न देश घोषित कर दिया। इस परीक्षण के बाद अमेरिका समेत कई देशों ने भारत पर आर्थिक प्रतिबंध लगा दिया।
  • दक्षिण भारत के वर्षों पुराने कावेरी जल विवाद का हल निकालने का प्रयास भी अटल जी ने किया।
  • भारत भर के चारों कोनों को सड़क मार्ग से जोड़ने के लिए स्वर्णिम चतुर्भुज परियोजना (गोल्डन क्वाड्रिलेट्रल प्रोजैक्ट या जी क्यू प्रोजैक्ट) की शुरुआत की गई। इसके अंतर्गत दिल्ली, कलकत्ता, चेन्नई व मुम्बई को राजमार्ग से जोड़ा गया।
  • मुख्य मार्ग से गांवों को जोड़ने के लिए प्रधानमंत्री सड़क योजना बेहतर विकास का विकल्प लेकर सामने आई। 
  • कोंकण रेल सेवा की आधारशिला उन्हीं के काल में रखी गई थी।
प्रमुख पुरस्कार...
  1. वाजपेयी को उनकी राष्ट्र की उत्कृष्ट सेवाओं के लिए वर्ष 1992 में पद्म विभूषण दिया गया।
  2. वर्ष 1993 में उन्हें कानपुर विश्वविद्यालय द्वारा फिलॉस्फी की मानद डाक्टरेट उपाधि प्रदान की गई
  3. सन 1994 में उन्‍हें लोकमान्य तिलक पुरस्कार तथा सर्वोत्तम सांसद के लिए भारत रत्न पंडित गोविन्द बल्लभ पंत पुरस्कार भी प्रदान किया गया।
  4. अनेक सर्वोत्तम विकास कार्यों और देश के चहुमुखी विकास के लिये किये गये योगदान तथा असाधारण कार्यों के लिये 2014 दिसंबर में अटल बिहारी वाजपेयी जी देश के सर्वोच्च सम्मान भारत रत्न से सम्मानित किया गया।
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