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राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के संस्थापक डा. केशव राव बलीराम हेडगेवार (Keshav Baliram Hedgewar) का जन्म 1 अप्रैल, 1889 को महाराष्ट्र के नागपुर जिले में पण्डित बलिराम पन्त हेडगेवार के घर हुआ था। इनकी माता का नाम रेवतीबाई था। डॉ. केशव राव बलिराम हेडगेवार जी ने 27 सितंबर, 1925 को जब राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) की स्थापना की थी।
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- पिता बलिराम वेद-शास्त्र के विद्वान थे एवं वैदिक कर्मकाण्ड (पण्डिताई) से परिवार का भरण-पोषण चलाते थे। स्वामी दयानन्द सरस्वती के अनुयायी व आर्य समाज में निष्ठा होने के कारण उन्होंने अग्निहोत्र का व्रत लिया हुआ था।
- डॉ. हेडगेवार, जब वो महज 13 साल के थे तभी उनके पिता पंडित बलिराम पंत हेडगेवार और माता रेवतीबाई का प्लेग से निधन हो गया। उसके बाद उनकी परवरिश दोनों बड़े भाइयों महादेव पंत और सीताराम पंत ने की।
- 1910 में जब डॉक्टरी की पढाई के लिए कोलकाता गये तो उस समय वहा देश की नामी क्रांतिकारी संस्था अनुशीलन समिति से जुड़ गये। 1915 में नागपुर लौटने पर वह कांग्रेस में सक्रिय हो गये और कुछ समय में विदर्भ प्रांतीय कांग्रेस के सचिव बन गये।
- मैट्रिक के बाद हिंदू महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष बी एस मूंजे ने उन्हें मेडिकल की पढ़ाई के लिए कोलकाता भेज दिया। वह हिंदू महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष बी एस मुंजे के संपर्क में शुरू से थे। मुंजे के अलावा हेडगेवार के व्यक्तित्व पर बाल गंगाधर तिलक और विनायक दामोदर सावरकर का बड़ा प्रभाव था।
- 27. 9. 1925 विजयदशमी को डॉ. बालकृष्ण शिवराम मुंजे, उनके शिष्य डॉ. हेडगेवार, श्री परांजपे और बापू साहिब सोनी ने एक हिन्दू युवक क्लब की नींव डाली, जिसका नाम राष्ट्रीय स्वंयसेवक संघ हो गया।
- भैय्याजी दाणी, बाबासाहेब आप्टे, बालासाहेब देवरस और मधुकर राव भागवत इसके शुरुआती सदस्य बने।
- महात्मा गांधी ने 1930 में सविनय अवज्ञा आंदोलन छेड़ा तो हेडगेवार ने संघ की सभी शाखाओं को पत्र लिख कर सूचित किया कि संघ आंदोलन में शामिल नहीं होगा।
- डॉ. हेडगेवार का निधन 21 जून, 1940 को हुआ। उनके बाद सरसंघचालक की जिम्मेदारी माधवराव सदाशिवराव गोलवलकर को सौंप दी गई। वर्तमान में डॉ मोहनराव मधुकर भागवत यानी मोहन भागवत यह जिम्मेदारी संभाल रहे हैं।
- 1951 में भारतीय जन संघ की स्थापना संघ के सियासी धड़े के तौर पर हुई। जिसका नाम 1980 में बदल कर भारतीय जनता पार्टी कर दिया गया।
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