व्यक्ति विशेष (Personality) : भारत के नए महामहिम होंगे राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन के उम्मीदवार राम नाथ कोविन्द
व्यक्ति विशेष (Personality) : देश के 14वें राष्ट्रपति (व्यक्ति क्रम ) और 15 वें राष्ट्रपति (कार्यकाल क्रम ) राम नाथ कोविन्द
फोटो : वेबदुनिया |
- उनके शिष्य सबसे पहले गौ रक्षा के नाम पर होने वाली कथित हत्याओं पर लगाम लगाएं|
- कोविंद जाति, धर्म से ऊपर उठ कर वैसे क़दम उठाएंगे जिससे हर आदमी सुखी होगा|
रामनाथ कोविंद ( RamNath Kovind ) : जीवन परिचय (Profile)
- जन्म- 1 अक्टूबर 1945
- जन्म स्थान- ग्राम परौंख, तहसील डेरापुर, जिला कानपुर देहात, उत्तरप्रदेश
- पिता का नाम- मैकूलाल
- माता का नाम- श्रीमती फूलमती
- राजनीतिक दल- भारतीय जनता पार्टी
- जीवन संगीनी- सविता कोविंद (विवाह:मई30, 1974)
- बच्चे- दो ,पुत्र- प्रशांत कुमार, पुत्री- स्वाती
- निवास- कानपुर, उत्तर प्रदेश
- प्रारंभिक शिक्षा- संदलपुर विकासखंड के ग्राम खानपुर प्राथमिक और माध्यमिक विद्यालय
- शैक्षिक सम्बद्धता- बीकॉम (डीएवी कॉलेज), एल॰एल.बी(डीसी लॉ कॉलेज)
- पेशा- वकालत, राजनीति, राज्यपाल
- धर्म- हिन्दू , कोरी (कोली)
करियर की शुरुआत
- संघ लोक सेवा आयोग परीक्षा भी तीसरे प्रयास में ही पास कर ली थी।
- 1978 में SC में वकील के तौर पर अप्वाइंट हुए। 1980 से 1993 के बीच SC में केंद्र की स्टैंडिंग काउंसिल में भी रहे।
- 1977 में जनता पार्टी की सरकार बनने के बाद रामनाथ कोविंद तत्कालीन प्रधान मंत्री श्री मोरार जी देसाई के निजी सचिव बने|
- भारतीय जनता पार्टी ने 1990 में घाटमपुर लोकसभा का टिकट दिया लेकिन वह चुनाव हार गए|
- वर्ष 1994 और 2000 में कोविंद उत्तरप्रदेश से राज्यसभा सदस्य चुने गए| इस दौरान वे कई संसदीय समितियों के सदस्य रहे।
- अक्टूबर 2002 में संयुक्त राष्ट्र में भारत का प्रतिनिधित्व किया था। उन्होंने संयुक्त राष्ट्र महासभा को भी संबोधित किया था।
- 2007 में कानपुर देहात की भोगनीपुर लोकसभा से चुनाव लादे लेकिन हार गए|
- 1998 से 2002 तक बीजेपी के दलित मोर्चा के अध्यक्ष रहे|
- वे बीजेपी के राष्ट्रीय प्रवक्ता और अखिल भारतीय कोरी समाज के अध्यक्ष भी रहे है|
- कोविंद लखनऊ स्थित डॉ. बी.आर.आम्बेडकर यूनिवर्सिटी के बोर्ड ऑफ मैनेजमेंट के सदस्य भी रह चुके हैं।
- IIM - कोलकाता में SC/ST वर्ग का भी प्रतिनिधित्व किया हैं|
- उनके व्यक्तित्व की एक खास बात यह है कि उन्होंने अपने पैतृक घर को बारात घर और सामुदायिक भवन के लिए दान कर दिया था।
- 8 अगस्त 2015 को रामनाथ कोविंद बिहार के गवर्नर नियुक्त किए गए।
- 19 जून 2017 को भारत के राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार घोषित किये गए।
15वां राष्ट्रपति चुनाव 2017 : एक विशेष झलक
1. चुनाव 17 जुलाई 2017- 99% वोटिंग, रिटर्निंग अधिकारी अनूप मिश्रा ने बताया कि यह अबतक सबसे ज्यादा वोटिंग है।(32 केंद्र पर वोटिंग)- बिहार, झारखण्ड, उत्तराखंड, हरियाणा, हिमांचल प्रदेश समेत नौ राज्यों में 100% हुई थी|
- दोनों सदनों में 99.61% वोटिंग- लोकसभा (543) और राज्यसभा (233) में कुल 776 सांसद हैं।(LS और RS से दो-दो सीट खाली)
- बिहार के सासाराम से बीजेपी के सांसद छेदी पासवान के पास वोटिंग का अधिकार नहीं था, टीएमसी के तापस पाल, बीजेडी के रामचंद्र हंसदह और पीएमके के अंबुमणि रामदौस ने वोट नहीं डाला(LS)|
- देश में 31 विधानसभा- 4120 एमएलए हैं। इनमें 10 सीट खाली है और एक विधायक अयोग्य है। लेकिन 4,083 ने वोटिंग की। यानी कुल 99.37% वोटिंग हुई।
कब | प्रेसिडेंशियल कैंडिडेट | कितने वोट मिले |
2017 | रामनाथ कोविंद | 7,02,044 |
2012 | प्रणब मुखर्जी |
7,13,763
|
2007 | प्रतिभा पाटिल | 6,38,116 |
2002 | अब्दुल कलाम | 9,22,884 |
1997 | के. आर. नारायणन | 9,56,290 |
1992 | शंकर दयाल शर्मा | 6,75,864 |
1987 | आर. वेंकटरमण | 7,40,148 |
1982 | ज्ञानी जैल सिंह | 7,54,113 |
1977 | नीलम संजीव रेड्डी | निर्विरोध |
1974 | फखरुद्दीन अली अहमद | 7,54,113 |
1969 | वी. वी. गिरि | 4,20,077 |
1962 | जाकिर हुसैन | 4,71,244 |
1962 | डॉ. एस. राधाकृष्णन | 5,53,067 |
1957 | डॉ. राजेन्द्र प्रसाद | 4,59,698 |
1952 | डॉ. राजेन्द्र प्रसाद | 5,07,400 |
स्पेशल इफ़ेक्ट: इस बार का राष्ट्रपति चुनाव?
- देश को केआर नारायणन (1997 से 2002) के बाद दूसरा दलित राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के रूप में मिला।
- एपीजे अब्दुल कलाम के बाद दूसरी बार एनडीए की पसंद के राष्ट्रपति होंगे रामनाथ कोविंद।
- 6 अप्रैल 1980 को भारतीय जनता पार्टी बनी थी। 1990 में पहली सरकार राजस्थान में बनी। 1996 में देश में उसकी केंद्र में पहली सरकार बनी।
- भैरोंसिंह शेखावत बीजेपी के थे जो उपराष्ट्रपति थे। कोविंद के रूप में सर्वोच्च पद ऐसा नेता संभालेगा जो बीजेपी से जुड़ा रहा है।
- 9 प्रधानमंत्री देने वाले यूपी से देश के पहला प्रेसिडेंट होंगे रामनाथ कोविंद। इससे पहले लखनऊ में जन्मे मोहम्मद हिदायतुल्लाह दो बार एक्टिंग प्रेसिडेंट रह चुके हैं।
- कोविंद से पहले राष्ट्रपति बने के आर नारायणन भी दलित थे लेकिन उनकी एक अलग छवि थी, वे भारतीय विदेश सेवा के डिप्लोमैट थे|
- वे एक हाई प्रोफाइल डिप्लोमैट थे, चीन जैसे देश में वे राजदूत रहे, उनके कार्यकाल में ऐसे मौके आए जब उन्होंने सरकार की फाइलों को पुनर्विचार के लिए लौटा दिया|
क्लिक नाउ 15वें राष्ट्रपति का चुनाव (15th Presidential Election) 2017
साभार: दैनिक भास्कर
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